जरूरी खबर:18 वर्ष से पूर्व के युवा भी जुड़वा सकते हैं वोटर लिस्ट में नाम,यह होगा मापदण्ड

0 मृत/अनुपस्थित और स्थानांतरित मतदाताओं के नाम काटे जाएंगे
0 घर-घर जाकर जानकारी लेने व फार्म भरवाने आयोग का निर्देश

कोरबा। भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी रायपुर के निर्देश के तहत् फोटोयुक्त निर्वाचक नामावलियों का विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण अर्हता तिथि 01.01.2024 की स्थिति में किया गया है। आयोग द्वारा विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण हेतु घोषित कार्यकम के अनुसार 6 से 22 जनवरी 2024 तक मतदान केन्द्रों के उपस्थित रहकर अभिहित अधिकारी द्वारा नाम जोड़े जाने / विलोपन / स्थानांतरण एवं संशोधन के संबंध में दावा / आपत्तियां प्राप्त किया जावेगा।
इसके तहत् सभी बूथ लेबल अधिकारियों (BLO) को भी निर्देशित किया गया है 13 एवं 14 जनवरी 2024 को विशेष शिविर का आयोजन किया जा रहा है, इस तिथि को समस्त बीएलओ एवं अभिहित अधिकारी अपने मतदान केन्द्र में उपस्थित रहेंगे।
इस संबंध में जिला निर्वाचन कार्यालय से प्राप्त जानकारी के मुताबिक दिनांक 13 एवं 14 जनवरी 2024 के पूर्व अपने क्षेत्र (बूथ) के सभी मकानों में घर-घर जाकर कर फार्म प्राप्त किया जावेगा। निर्देशित किया गया है कि ऐसे पात्र युवा नागरिक जो वर्ष 2024 में पश्चातवर्ती अर्हता तारीखों अर्थात् 1 अप्रैल 2024, 1 जुलाई 2024 या 1 अक्टूबर 2024 में से किसी को अठारह वर्ष की आयु प्राप्त करने वाला है, उनका भी नाम प्रारूप 6 में जोड़ा जावे एवं कोई मतदाता मतदान से वंचित न रहें। हर मकान में जाकर प्रत्येक मकान घूम लिया है, इसका प्रमाण पत्र भी प्रदाय किया जाना है।
0 मृत और अनुपस्थितों के नाम काटे जाएंगे
निर्देशित किया गया है कि बूथ में ऐसे मतदाता जो मृत/अनुपस्थित/स्थायी तौर पर स्थानान्तरित हो चुके हैं, उन मतदाताओं का नाम विलोपन हेतु फार्म 07 विशेष शिविर 13 जनवरी के पूर्व 12 जनवरी तक भरना सुनिश्चित करें तथा फार्म- 07 की हार्ड कापी कार्यालय को उपलब्ध कराया जावे।
0 मृत और अनुपस्थित मतदाताओं की भरमार
वर्तमान स्थिति में मतदाता सूची में मृत और अनुपस्थित मतदाताओं ने वर्षों से संख्या बढ़ाकर रखी है। चुनाव के दौरान अक्सर नाम विलोपन से परहेज किया जाता है और किसी के भी नाम बिना पर्याप्त प्रमाण के विलोपन की अनुमति नहीं होती, यहां तक कि मृत मतदाताओं के नाम भी बड़ी सावधानी से काटे जाते हैं। ऐसे में मृतकों के साथ-साथ वे मतदाता जो विवाह होकर अन्यत्र जा चुके हैं, पूर्व का मतदान केन्द्र छोडक़र दूसरे मतदान क्षेत्र में सालों-साल से निवासरत हैं तथा उनका विधानसभा और जिला भी बदल चुका है, ऐसे मतदाताओं के नाम भी मतदाता सूची में दर्ज हैं। दूसरी ओर पुनरीक्षण कार्यक्रम में नाम पर नाम जोड़े जाते हैं, ऐसे में सूची में मतदाताओं की संख्या बढक़र दर्ज होती है जबकि संबंधित मतदान केन्द्र (बूथ क्षेत्र) में इतनी संख्या में मतदाता होते ही नहीं। इसकी वजह से मतदाताओं की संख्या बढऩे के कारण मतदान केन्द्रों का युक्तियुक्तकरण करने की नौबत तक आ जाती है और निर्धारित से ज्यादा संख्या होने से दूसरे भाग में भी शिफ्ट करना पड़ता है। चुनाव में मतदान के आंकड़े भी प्रभावित होते हैं।
0 जिले में 9 लाख 21 हजार 585 मतदाता
विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण अर्हता कायक्रम अंतर्गत 1 जनवरी 2024 की स्थिति में कोरबा जिले के ही चारों विधानसभा अंतर्गत कुल 1080 मतदान केंद्र एवं मतदाताओं की कुल संख्या 9 लाख 21 हजार 585 है। 4 लाख 60 हजार 531 पुरुष मतदाता एवं 4 लाख 61 हजार 016 महिला मतदाता हैं। थर्ड जेंडर मतदाताओं की संख्या 38 है। जिले में वरिष्ठ मतदाताओं की संख्या 9770, 18 से19 वर्ष के नए मतदाता 30,028 व दिव्यांग मतदाता 5859 और सेवा मतदाताओं की संख्या 542 है। लोकसभा निर्वाचन हेतु अब तक 1500 नए मतदाता जुड़े हैं। इनमें 18 से 19 वर्ष के नए मतदाता की संख्या 291 है।


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